Enforcement Directorate: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने शुक्रवार को घोषणा की कि उसने एक बड़े सोना तस्करी और धन शोधन (Gold Smuggling and Money Laundering) मामले की चल रही जांच के तहत कन्नड़ अभिनेत्री रन्या राव और उनके सहयोगियों से जुड़ी 34 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क (Property Attached) कर ली है। यह मामला तब सुर्खियों में आया जब अभिनेत्री ने कर्नाटक के तत्कालीन गृह मंत्री जी. परमेश्वर से अपनी करीबी होने का दावा किया था, जिससे यह जांच और भी संवेदनशील हो गई।
यह कार्रवाई देश में अवैध संपत्ति (Illegal Wealth) और वित्तीय अपराधों (Financial Crimes) के खिलाफ जारी जंग का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य भारत में मनी लॉन्ड्रिंग (Money Laundering in India) रैकेट्स को खत्म करना है। ईडी द्वारा यह कुर्की भारतीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों द्वारा उच्च-प्रोफाइल मामलों (High-Profile Cases) में की गई एक और महत्वपूर्ण उपलब्धि है।
जांच का विस्तार: बेंगलुरु से दिल्ली, हाई-प्रोफाइल कनेक्शन और 56 करोड़ का रैकेट
मामले की गंभीरता तब और बढ़ गई जब मई में ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले (Money Laundering Case) के संबंध में मंत्री परमेश्वर के परिसरों की तलाशी ली थी। बाद में, ईडी ने सोना तस्करी मामले में अपनी जांच बेंगलुरु से दिल्ली मुख्यालय में स्थानांतरित कर दी। इस कदम से यह स्पष्ट हो गया कि यह सिर्फ एक स्थानीय मामला नहीं था, बल्कि इसके तार दूर-दूर तक फैले हुए थे।
जांच में एक बड़ा रैकेट सामने आया, जिसमें राज्य के कई उच्च-प्रोफाइल व्यवसायी (High-Profile Businessmen) और राजनेता (Politicians) शामिल थे। इसके अलावा, कई हवाला डीलर (Hawala Dealers) भी इस आपराधिक आय को वैध बनाने में लगे हुए थे, जिसकी अनुमानित राशि अब एजेंसी द्वारा लगभग 56 करोड़ रुपये बताई जा रही है। यह दिखाता है कि कैसे संगठित अपराध नेटवर्क अवैध रूप से कमाए गए धन को अर्थव्यवस्था में वापस लाने के लिए जटिल तरीकों का उपयोग करते हैं। भारत में अपराध और राजनीति (Crime and Politics in India) के गठजोड़ को उजागर करने वाली यह जांच देशभर में भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई का एक मजबूत संकेत है।
कुर्क की गई संपत्तियां और उनके ठिकाने: बेंगलुरु और तुमकुर में बड़े पैमाने पर प्रॉपर्टी अटैचमेंट
एजेंसी के अनुसार, अभिनेत्री की कुर्क की गई संपत्तियां कर्नाटक के बेंगलुरु (Bengaluru, Karnataka) और तुमकुर (Tumkur, Karnataka) जिलों में स्थित हैं। इन संपत्तियों में बेंगलुरु में एक घर और एक आवासीय प्लॉट; तुमकुर में औद्योगिक भूमि; और अनेकल तालुक में कृषि भूमि शामिल है। इन सभी संपत्तियों का संयुक्त बाजार मूल्य 34 करोड़ रुपये से अधिक है। ईडी की संपत्तियों की कुर्की (ED Property Attachment) उन लोगों के लिए एक कड़ा संदेश है जो सोचते हैं कि वे अवैध गतिविधियों (Illegal Activities) से पैसा कमाकर बच निकल सकते हैं।
मई में ईडी द्वारा छापेमारी की गई 16 संपत्तियों में परमेश्वर से संबंधित दो शैक्षणिक ट्रस्ट (Educational Trusts) भी शामिल थे। इन ट्रस्टों को अभिनेत्री के क्रेडिट कार्ड बिल (Credit Card Bills) और अन्य खर्चों में 40 लाख रुपये का भुगतान करते हुए पाया गया था, जो जांचकर्ताओं के लिए एक महत्वपूर्ण सुराग बना। इससे यह भी पता चला कि कैसे शैक्षणिक संस्थान (Educational Institutions) का इस्तेमाल भी अवैध लेनदेन को छिपाने के लिए किया जा सकता है।
रन्या राव को 3 मार्च को सीमा शुल्क (Customs) और राजस्व खुफिया निदेशालय (DRI Officials) के अधिकारियों द्वारा गिरफ्तार किया गया था और उनसे 13 करोड़ रुपये मूल्य का 14 किलोग्राम से अधिक सोना (Gold Seizure) जब्त किया गया था। ईडी का मामला सीबीआई (CBI) की दिल्ली इकाई द्वारा दो खेपों में तस्करी किए गए 31 करोड़ रुपये के सोने की बरामदगी पर दर्ज एक प्राथमिकी (FIR) पर आधारित है। बाद में, राव के आवास पर तलाशी के दौरान, अधिकारियों ने बेहिसाब नकदी (Unaccounted Cash) और सोने के गहने (Gold Jewellery) भी जब्त किए। यह मामला उच्च मूल्य वाले सोने की तस्करी (High-Value Gold Smuggling) और उसके बाद होने वाली मनी लॉन्ड्रिंग की परतदार प्रक्रिया (Layered Money Laundering Process) को दर्शाता है, जिसमें भारत के साथ-साथ अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भी नेटवर्क शामिल होते हैं। यह काला धन (Black Money) के खिलाफ सरकार के निरंतर प्रयासों का हिस्सा है।